*बहुमत दिशा निश्चित करता नहीं, मानलें यह बात*
हम किस के समर्थन, किसके विरोध में हैं - होवे एक बात;
समर्थन विरोध में किस हद तक हम जा सकते हैं - होवे निर्णायक बात।।
पक्ष विपक्ष में संख्या दिशा निश्चित करती नहीं, मानलें यह बात;
जो मरने मारने पर उतारू रहते हैं, उनकी चलती है, इतिहास सिद्ध यह बात।।
दांत नाखून रहित, मात्र बहुमत की सीमा है,
यह है देखने, समझने, स्वीकारने की बात।।
दुनियादारी है - समझने और अपनाने की बात;
अपने अनुसार चलने हेतु, वीरता जगाना है - अनिवार्यता की बात।।
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